नेहरू युवा केन्द्र बागपत ने किया विषय आधारित जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन।

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नेहरू युवा केन्द्र बागपत





नेहरू युवा केन्द्र बागपत ने किया विषय आधारित जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन


युवाओं ने मानसिक स्वास्थ्य कार्यशाला और प्राथमिक चिकित्सा प्रशिक्षण में किया प्रतिभाग



हमारी आंतरिक दुनिया से होता है बाहरी दुनिया का निर्माण: डॉली कालरा


बड़ौत। सोमवार को युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्रालय भारत सरकार की इकाई नेहरू युवा केन्द्र बागपत द्वारा बड़ौत के क्षेत्रीय ग्राम्य विकास संस्थान में एक दिवसीय विषय आधारित जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया जिसके अंतर्गत विभिन्न युवा मंडलों के युवाओं ने मानसिक स्वास्थ्य कार्यशाला में प्रतिभाग किया और प्राथमिक चिकित्सा प्रशिक्षण लिया। कार्यक्रम का शुभारंभ उपनिदेशक एवम प्राचार्य क्षेत्रीय ग्राम्य विकास संस्थान ,  डॉ अमोद कुमार प्रोफेसर एवम विभागाध्यक्ष सेंट स्टीफन हॉस्पिटल दिल्ली , जिला युवा अधिकारी अरुण तिवारी और पर्यावरणविद समाजसेवी कृष्णपाल सिंह ने किया।


प्रशिक्षण में प्राथमिक चिकित्सा सत्र में डॉ अमोद कुमार ने बहुत ही रोचक तरीके से बताया कि इस भागदौड़ के जीवन में सड़क हादसे तथा हमारी जीवनशैली से संबंधित रोग जैसे  हार्टअटैक, रक्तचाप एवम मधुमेह  के मामले आम हो गए हैं। उन्होंने जोर देकर कहा कि किसी भी हादसे में मृतकों और घायलों की संख्या को प्राथमिक चिकित्सा प्रशिक्षण लेकर कम किया जा सकता है बशर्ते हम प्राथमिक उपचार में प्रशिक्षित हों। उन्होंने सांप के काटने से लेकर सदमे में बेहोश होने जैसे विभिन्न स्थितियों में फर्स्ट रिस्पांडर्स के रूप में हमारे द्वारा क्या किया जाना चाहिए, इसकी जानकारी दी। किसी भी बेहोश आदमी को पानी नही पिलाना चाहिए क्योंकि वो सांस की नली में समस्या उत्पन्न कर सकता है। डायरिया होने पर एक गिलास पानी में एक चुटकी नमक और एक चम्मच चीनी का घोल लाभ देता है। खांसी के लिए अदरक एवं अन्य घरेलू नुस्खे काफी लाभदायक होते है। साथ ही उन्होंने फिट रहने के लिए योग को अपनी दिनचर्या में अपनाने का आह्वान किया। 


वहीं मानसिक स्वास्थ्य पर केंद्रित सत्र में हार्टफुलनेस की ध्यान प्रशिक्षक डॉली कालरा ने बताया कि अधिकतर समस्या हमारे अतीत अथवा भविष्य के विषय में चिंता करने की वजह से उत्पन्न होती है जिसको ध्यान के निरंतर अभ्यास से दूर किया जा सकता है। ध्यान एक बेहद सरल प्रक्रिया है जिसका उद्देश्य है कि आप एक ऊर्जा स्रोत से जुड़कर अपनी प्रगति हेतु ऊर्जा का सक्रिय संचार कर सकते है और जीवन के सभी आयामों में खुशहाली ला सकते है। ध्यान के माध्यम से हम शारीरिक सबलता, मानसिक मजबूती और रिश्तों में सुधार जैसे अनोखे चमत्कार अपने जीवन में देख सकते है। 


डॉली कालरा ने बताया कि हमारी आंतरिक दुनिया से बाहरी दुनिया का निर्माण होती है और खुली आंखों से हम बाहरी दुनिया देखते है जबकि बंद आंखों से अर्थात ध्यान की प्रक्रिया में हम स्वयं की आंतरिक दुनिया से जुड़ पाते है। इसके अतिरिक्त ट्रेनर डॉली कालरा ने सत्र के दौरान ध्यान का अभ्यास भी कराया जिसके माध्यम से सभी प्रतिभागियों ने शांति का अनुभव किया और अभ्यास को दिनचर्या में अपनाकर निरंतर अभ्यास करने की बात कही। वहीं जिला युवा अधिकारी अरुण तिवारी ने प्रशिक्षक डॉ अमोद, समाजसेवी कृष्णपाल सिंह और डॉली कालरा को स्मृति चिन्ह और पौधा भेंट कर आभार जताया। प्रशिक्षुओं में अमन कुमार, नीतीश भारद्वाज, अमन कुमार, देवांश, अरिहंत, शालिनी, आकाश, सुमित, दानिश, कशिश, सलीम आदि मौजूद रहे।

अरुण कुमार तिवारी,
जिला युवा अधिकारी,
नेहरू युवा केन्द्र बागपत।

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